संविधान दिवसः के अवसर पर ग्राम कुटरबोड़ में बुद्धजीवों द्वारा डॉ.भीमराव अम्बेडकर व संविधान की महत्वता बताते हुए संविधान दिवस मनाया गया
साथ ही डॉ. भीमराव अम्बेडकर प्रतिमा के लिए भूमि पूजन भी किया गया
सक्ती/ कुटरबोड़:- 26 नवंबर को पूरे देश भर में संविधान दिवस के रूप डॉ.भीमराव अम्बेडकर को याद करते संविधान की महत्वता को मनाया जाता है।इस दिन को राष्ट्रीय संवैधानिक दिवस और राष्ट्रीय कानून दिवस के तौर पर भी मनाया जाता है। दरअसल 26 नवम्बर 1949 को संविधान को अपनाया गया था और राष्ट्र को समर्पित किया गया था। इसके बाद 26 जनवरी 1950 में इसे लागू किया गया था। इसलिए हर साल 26 नवंबर को संविधान दिवस और 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस मनाया जाता है।भारतीय संविधान का क्या महत्व है,यह क्यों बनाया गया, किसकी अहम भूमिका क्या रही, इससे बनाने में कितना समय लगा, दुनिया भर में यह क्यों सबसे खास हैं, इन सभी की जानकारी देते हुए गांव में बड़े धूम धाम से संविधान दिवसःमनाया और बुद्धिजीवियों द्वारा डॉ.अम्बेडकर की संघर्ष एवं त्यग व उनके द्वारा समर्पित सांविधानिक जानकारी देते हुए डॉ. भीमराव अम्बेडकर के तैल्य चित्र पर दिप प्रजवल्लित कर पुष्प माल्यापर्ण कर संविधान के सामाजिक आर्थिक राजनैतिक धार्मिक व व्यक्तिगत महत्व के बारे में विभिन्न जानकारी दी। इस अवसर पर ग्राम के शिक्षकगण तथा समस्त कर्मचारियों सहित सतनामी समाज जनप्रतिनिधियों व सरपंच, क्षेत्र के जनपद सदस्य सहित गांव के युवाओं ने धूमधाम से संविधानिक विशेषताओं का उतबोधन करते हुए मनाया साथ ही कार्यक्रम स्थल में पहुचे नागरिकों को देवेन्द्र जोशी के द्वारा भारतीय संविधान प्रस्तावना शपथ की प्रतिज्ञा दिलाई गई तथा संवैधानिक विधिक एवं मौलिक मूल्यों व अधिकारों का व्यक्तिगत महत्व और सामाजिक उत्तरदायित्वों का राष्ट निर्माण में योगदान का लघु उद्बोधन दिया।
संविधान दिवस की इसी अवसर पर ग्राम कुटरबोड़ के बस स्टैंड मुख्य चौक पर डॉ.भीमराव अम्बेडकर प्रतिमा स्थापित करने के लिए गाँव के आमनागरिकों व शिक्षकों कर्मचारियों और महिला सक्तीओं के साथ नवयुवकों ने भूमि पूजन कर भूमि पुजन स्थान पर डॉ.अम्बेडकर की चित्र स्थापित किया।
संविधान दिवस के इस क्रम में ग्राम मुखिया चेतन सिंह बंजारे,सतनामी समाज प्रदेश प्रतिनिधि अधि.कर्म. प्रकोष्ठ विजय मनहर, जनपद सदस्य हेमलाल खूँटे, आदिमजाति कल्याण विभाग चतुर्थ वर्गसंघ जिला अध्यक्ष सीता बंजारे, प्रगतिशील सतनामी समाज के शिक्षकगण:- नेताराम कुर्रे, महेंद्र जांगड़े, संतोष बंजारे, नीति प्रकाश जांगड़े, चंद्र किरण जांगड़े, रोशनी बंजारे, हरीश जांगड़े, खगेश भारद्वाज, जितेंद्र जांगड़े, आदि इन सभी के साथ गांव के युवाओं और सामाजिक कार्यकर्ता उपस्थित थे, दूधनाथ डहरिया,राजेन्द्र जांगड़े, सामर्थ बर्मन, रोहित जांगड़े, मनोज रात्रे, टिकेस्वर डहरिया, आशीष,जय जांगड़े, गोविंद जांगड़े,ओमप्रकाश, अमर, देवनारायण, गौतम, राकेश ,जवाला कुर्रे,राजेश जोशी,सुकृत कुर्रे, पोखरे लाल लहरे, महेतर, शुनील, संजय, राजू(राजकुमार) बालक,इंद्रजीत, मुकेश,नितेश,विनोद, इत्यादि सभी ने बड़े हर्षोउल्लास के साथ संविधान दिवस में सहभागिता निभाई।